सोमवार, 7 अप्रैल 2025

तेलीबांधा मे संबलपुरी स्टार रुकू सोना, मोतीलाल बाग का प्रोग्राम की कहानी

उत्कल दिवस संबलपुरी स्टार रुकू सोना का प्रोग्राम देखकर हमारे एक मित्र ने मुझसे कहा आपने बीएसयुपी कॉलोनी तेलीबांधा में रूकू सोना, मोतीलाल बाग का बहुत अच्छा कार्यक्रम करवाया था, शानदार प्रोग्राम था।  तभी मुझे वह पल याद आ गया आपके सामने प्रस्तुत कर रहा हूं - 

यह उस समय की बात है जब कोरोना कॉल अपने अंतिम दौर पर था और इतने साल कोरोना जैसी महामारी से लड़ने के बाद पुनः जीवनचार्य प्रारंभ हो गई थी उसे समय मनोरंजन के माध्यम से थोड़ा आमजनों को प्रसन्नता दिलाने एक आयोजन करने की सोची और कार्यकर्ता सम्मेलन एवं सम्मान समारोह का आयोजन किया जिसमें संबलपुरी सुपरस्टार रुकू सोना एवं कॉमेडी किंग मोतीलाल बाग ने अपनी प्रस्तुति दी जिससे पूरा माहौल उत्साह और संगीत में हो चुका था।

मैं जब इस प्रोग्राम की रूपरेखा बनाई थी जब सोचा था तब नहीं मालूम था कि यह प्रोग्राम इतना हिट हो जाएगा। कार्यक्रम के अतिथि तत्कालीन महापौर एजाज ढेबर जी और वार्ड के पार्षद अजीत कुकरेजा जी एवं समाज के गणमान्य नागरिक गण की उपस्थिति रही। मैंने तो बस एक छोटे से प्रोग्राम की कल्पना की थी पर प्रोग्राम जैसे-जैसे समय बितता गया कार्यक्रम भव्य रूप लेता गया। 

सबसे पहले कार्यक्रम के लिए हमारे यहां के कलाकार छोटे भाई जतिन तांडी से चर्चा किया जतिन नया कलाकार था उसने अपने साथियों के साथ कार्यक्रम करने की बात किया और सभी ने संबलपुरी सुपरस्टार के साथ कार्यक्रम करने उत्साहित थे। जब मैं भाई रुकू सोना से चर्चा किया कार्यक्रम के लिए तो पहले उन्होंने मना कर रहे थे कि नए  लोग के साथ काम कैसे होगा मुझे नहीं पता कैसे बजाएंगे। 

मैंने भाई बी गणेश राव डायरेक्टर बालाजी प्रोडक्शन हाउस की मदद से रुकू सोना जी को मनवा लिया कि आप यह कार्यक्रम जतिन  और उनके टीम के साथ कीजिए रुकू भाई भी मान गए.. 

यह तो हो गया कलाकार और साथी कलाकार उनकी तैयारी। अब बचा मंच और साउंड और लाइट की व्यवस्था। मंच और किराया भंडार के लिए मैंने हमारे बड़े भाई मोहन बुधोलिया जी को काम दिया और साउंड के लिए नेशनल साउंड वाले से भाई रिकी मोहन बाग की मदद से नेशनल साउंड को फाइनल किया। अब बचा लाइट की व्यवस्था इसके लिए मैंने सौरभ नायक की मदद से उनके मित्र जो लाइट का काम करते हैं उनकी मदद ली और हो गया कार्यक्रम की तैयारी। 

कार्यक्रम की शुरुआत मैं नहीं सोचा था कि मोतीलाल बाग जी को बुलवाकर कार्यक्रम करूंगा परंतु समय और स्थिति के हिसाब से मोतीलाल बाग जी भी पहुंचे रुकू सोना और मोतीलाल बाग जी की जुगलबंदी से कार्यक्रम सुपर डुपर हिट हो गया। आज भी उस कार्यक्रम की यूट्यूब में लाखों व्यूवर्स है। 

कार्यक्रम करने में कितना मेहनत लगता है कितना पैसा लगता है जो करता है उसे मालूम है किराए भंडार मोहन बुधेलिया जी का पेमेंट मैं साल भर बात किया था और उनसे वाद विवाद भी बढ़ गया था। 

लाइट वाले का पेमेंट भी दो-तीन महीने बाद किया था। खैर अंत भला तो सब भला कार्यक्रम हिट हुआ और कार्यक्रम के अतिथिगण और आमजन सभी उत्साहित हुए और कार्यक्रम का भरपूर आनंद उठाया अतिथि एजाज ढेबर ने कहा कोरोना काल, महामारी के बाद या पहला शानदार कार्यक्रम हुआ लोगों की खुशी देखते बन रही है।

उक्त कार्यक्रम को सफल करने में जतिन तांडी और उनकी टीम भाई बी गणेश राव एवं पार्षद अजीत कुकरेजा जी का भरपूर सहयोग मिला आप सभी का तहे दिल से धन्यवाद आभार... 

आज भी मुझे पार्षद अजीत कुकरेजा जी कहते है इतना स्टैमिना लाते कहां से हो?

यह सही है, कि मैं जो सोचता हूं उसे पूरी शिद्दत के साथ करता हूं और जो जिम्मेदारी मिलती है उसे पूरा करता हूं। 

सफल कार्यक्रम करने के बाद महापौर एजाज ढेबर जी ने बीएसयुपी कॉलोनी में कार्य करवाने की घोषणा की जिसकी जानकारी अगले भाग में दूंगा...

सोमवार, 24 मार्च 2025

भाग 2 - संघर्ष और सतत प्रयास से ही सफलता मिलती है. (तेलीबांधा बीएसपी कॉलोनी में घरों में पानी की व्यवस्था)

जैसा कि आप सभी जानते हैं पिछले पोस्ट में मैंने आपको बताया था की अंशुल शर्मा जी के फोन किया मैं अपना काम छोड़कर तुरंत जगह पर पहुंचा और हमने पानी टंकी और 40 ब्लॉक सभी तरफ घूम कर व्यवस्था देखा.

और अब आगे....

अंशुल शर्मा जी ने फाइल बनाकर अपर आयुक्त आशीष टिकरिया जी ने आयुक्त सर से साइन करवा कर फाइल को पास करवाया और टेन्डर लगवाया, ठेकेदार गणेश भैया को काम मिला फाइल तो चल रहा था परंतु गणेश भैया ने जल्द से जल्द काम पूरा करने कार्य को शुरू किया और पाइपलाइन के माध्यम से पीने की पानी लोगों के घरों तक पहुंचा इसमें एक तकलीफ आ रही थी कि हम किचन में पानी की व्यवस्था चाह रहे थे, परंतु तेलीबांधा बीएसयुपी के ब्लॉक की संरचना के हिसाब से पीने का पानी किचन तक नहीं पहुंच पा रहा था मैंने कहा की हमारा मेन उदेश्य पानी ऊपर घर तक पहुंच जाए. 

ठेकेदार ने पूरा सहयोग किया और जल्दी पाइपलाइन की गई पर एक समस्या और आ रही थी पानी की व्यवस्था ऊपर टंकी में पानी दे रहे थे तो नीचे पीने का पानी नहीं हो पा रहा था टंकी में अतिरिक्त पानी की आवश्यकता थी. अब क्या करें समझ नहीं आ रहा था. 

सब इंजीनियर अंशुल शर्मा जी से चर्चा करने पर इसका रास्ता निकाला गया कि नये बनी श्याम नगर पानी टंकी से बीएसयुपी में पानी टंकी पर पानी की सप्लाई दिया जाए जिससे पानी की यह समस्या समाप्त हो सके. परंतु तत्कालीन पार्षद कचरू साहू नहीं चाहते थे कि श्याम नगर पानी टंकी से बीएसयुपी में पानी मिले. 

फिर क्या था मैं भी जिद्दी था मैं भी ठान लिया था कि पानी तो लेकर रहूंगा. अंशुल शर्मा जी अमृत मिशन के इंजीनियर थे तो फाइल बनाने में दिक्कत नहीं हुआ और पाइप लाइन बिछाया गया तत्कालीन पार्षद महोदय को भी पता नहीं चला कि यह कैसे हो गया. 

हमारी मेहनत रंग लाई और हमें श्याम नगर नई पानी टंकी से बीएसयुपी में पाइपलाइन के द्वारा पानी उपलब्ध हो गया अब क्या था फिर पाइपलाइन चालू करने की देरी थी. तब तक चुनाव का समय आ गया. आचार संहिता के पहले अपनी चालू करने की समस्या थी. 

फिर क्या था हमें माननीय पार्षद महोदय अजीत कुकरेजा जी का मदद मिला और हमने पीने का पानी चुनाव से पहले चालू करवा लिया जिसका फायदा भी अजीत कुकरेजा जी को पार्षद चुनाव में मिला पार्षद अजीत कुकरेजा जी ने लगातार चुनाव के पहले ही बीएसयुपी कॉलोनी में काम करवाना चालू कर दिया था. चुनाव में पार्षद अजीत कुकरेजा जी ने सभी का दिल जीता चुनाव भी. 

अजीत कुकरेजा जी के पार्षद बनने के बाद बीएसयुपी कॉलोनी का अधिकतर काम आसानी से हो रहा था, संघर्ष करना नहीं पड़ रहा था इस कार्य में जितने भी साथियों का साथ मिला और अधिकारियों का साथ मिला और पार्षद अजीत कुकरेजा जी का पूरा सहयोग मिला हम सभी कॉलोनी वासी सदैव जिसने हमें सहयोग किया सभी अधिकारियों और पार्षद अजीत कुकरेजा जी के आभारी रहेंगे. 

बस यही थी बीएसयुपी कॉलोनी में पीने की पानी की व्यवस्था, कैसे पाइपलाइन बिछा, कैसे श्याम नगर पानी टंकी से पानी की व्यवस्था किया गया, आप लोगों के सामने हैं. फिर मिलेंगे...

बंटी निहाल की कलम से...



शनिवार, 22 मार्च 2025

संघर्ष और सतत प्रयास से ही सफलता मिलती है. (तेलीबांधा बीएसपी कॉलोनी में घरों में पानी की व्यवस्था)

आज कचना हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी जाना हुआ वहां मित्रों से मिलकर चर्चा कर रहा था तो देखा की पानी की व्यवस्था नीचे दिया गया है महिलाएं ऊपर के ब्लॉक में निवासर परिवारों को पीने का पानी नीचे आकर सीडी से उतरकर पानी भरकर ऊपर वापस सीढ़ी चढ़कर ले जाना पड़ता है यही उनकी आदत हो गई है मैंने अपने मित्र से पूछा कि आप लोग नगर निगम से बात करके पीने का पानी अपने किचन में क्यों नहीं लगते तो उन्होंने कहा कि हमने स्थानीय विधायक पूर्व विधायक को लगातार बार-बार कहने का पर भी यह कार्य नहीं हो पाया तभी मुझे अपनी पुराने फलों की याद आई आप सभी के सामने यह वाक्य प्रस्तुत कर रहा हूं

यह उसे समय की बात है जब हम बोरिया कला हाउसिंग बोर्ड से वापस अपने तेलीबांधा बीएसपी कॉलोनी निवास करने वाले थे और लगातार बैठकों का दौर नगर निगम अधिकारियों के साथ चल रहा था हमारे घरों में पीने का पानी व्यवस्था नहीं था

मैंने सब इंजीनियर अंशुल शर्मा जी से बात किया 

मैंने कहा - हमें पीने का पानी किचन में दिया जाए ? 

अंशु शर्मा ने कहा- नगर निगम रायपुर द्वारा बनाएं बीएसयुपी योजना में किसी भी घरो में यह व्यवस्था नहीं दिया गया है यह मुश्किल है. 

मैंने कहा- मुश्किल है लेकिन नामुमकिन तो नहीं ?

अंशुल शर्मा ने मुझे सलाह दिया इसके लिए ऊपर के अधिकारियों से बात करके देखो. (आवास आवंटन के दौरान अंशुल शर्मा से मेरी अच्छी पहचान हो गई थी जो मुझे मार्गदर्शन और रास्ता बताते थे) 

मैंने ठान लिया था कि पीने का पानी तो मैं लेकर रहूंगा. 

एक दिन कलेक्टर महोदय से मिलने के लिए गया तत्कालीन कलेक्टर से मिलने पर अच्छी चर्चा हुई उन्होंने कहा आप लोगों का वहां भेजने से विकास का स्तर बड़ा है. हाँ थोड़ा तकलीफ हुईं पर जिस स्तिथि मैं आप लोग रह रहे थे उसमें सुधार तो हुआ. 

मैंने कहा - माननीय आपने इतना अच्छी व्यवस्था दिए परंतु इतनी अच्छी व्यवस्था रहते हुए क्या मतलब जब हम पानी के लिए वापस उसी झुग्गी बस्ती की तरह से फिर लड़ाई झगड़ा कर कर पानी भरेंगे एक दूसरे से हाथापाई कर गाली गलौज कर इतनी अच्छी व्यवस्था रहते हुए क्या मतलब. 

कलेक्टर महोदय ने कहा - क्या कहना चाहते हो साफ-साफ कहो?

मैंने बताया कि आदरणीय हमें मकान दिया जा रहा है परंतु उसमें पीने की पानी की व्यवस्था नीचे देने की बात हो रही है अब आप ही बताइए कि हम ऊपर से नीचे आकर पानी भरेंगे और पानी के लिए लड़ाई झगड़ा भी होगा आपसे आगरा है कि आप पीने की पानी की व्यवस्था हमारे घरों के किचन में दिया जाए.  

माननीय कलेक्टर महोदय ने तत्काल अपरायुक्त आशीष टिकरिया जी को फोन लगाकर संबंधित विषय पर कार्य करने के लिए कहा और मुझे मिलने के लिए भेज दिया. 

(मुझे अंदर ही अंदर बहुत खुशी हुई कि कलेक्टर महोदय ने मेरी बातों को समझा और हमारा काम हो जाएगा)

मैंने माननीय कलेक्टर महोदय को धन्यवाद दिया और आभार व्यक्त किया. 

(मैं खुशी-खुशी कलेक्टर कार्यालय से तुरंत नगर निगम अपरायुक्त से मुलाकात करने पहुंचा)

आशीष टिकरिया जी मानो मेरा इंतजार कर रहे थे उन्होंने तपाक से कहा इसके लिए मुझे मिल लेते कलेक्टर महोदय से मिलने का क्या जरूर था.

मैंने कहा आदरणीय आप नाराज ना हो कलेक्टर महोदय से मुलाकात के लिए गए थे तो मैं अपनी बातों को रख दिया मैं किसी का शिकायत करने नहीं गया था. 

अपर आयुक्त कार्यालय नगर निगम के अपने केबिन से फोन कर अंशुल शर्मा को बुलाया अंशुल शर्मा तुरंत केबिन में आए और मुझे बैठा देख मेरी ओर देखकर मुस्कुराए. 

आशीष टिकरिया सर ने कहा बंटी निहाल जी को कलेक्टर महोदय ने भेजा है इनका काम हो जाना चाहिए तुरंत इसकी फाइल बना और मुझे बताओ, अंशुल शर्मा सर ने अपने सिर को हिलाते हुए कहा जी.

केबिन से बाहर निकलते ही अंशुल शर्मा सर ने मुझे कहा तुम बहुत जिद्दी हो, अपना काम करना बहुत अच्छे से जानते हो, बहुत-बहुत बधाई ऐसा पहली बार हो रहा है कि बीएसयुपी तेलीबांधा में पीने का पानी घरों घरों में लगेगा तुम्हारा मेहनत रंग लाया. 

कुछ दिन बाद अचानक मुझे फोन आया और अंशुल शर्मा सर ने साइट पर ठेकेदार को लेकर आने की बात कही और मुझे पहुंचने की बात कही

मैं अपना काम छोड़कर तुरंत जगह पर पहुंचा और हमने पानी टंकी और 40 ब्लॉक सभी तरफ घूम कर व्यवस्था देखा. 

आज इतने बरस बाद यह पल मुझे याद आया परंतु आज भी हमारे कॉलोनी में ऐसे लोग हैं जिन्हें पता ही नहीं की किसके कारण से पीने का पानी घरों तक पहुंचा. किसकी मेहनत से उनके घरों में पानी की व्यवस्था पहुंची खैर क्या करना हमें बस इतना खुशी होता है कि हम जो चीज को करना चाहते हैं उसे पूरा करते हैं. संघर्ष और सतत प्रयास से ही सफलता मिलती है. 

इसके लिए मैं तत्कालीन कलेक्टर महोदय, तत्कालीन अपर आयुक्त महोदय एवं अंशुल शर्मा जी का धन्यवाद देता हूं.

परंतु आज कचना हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी की स्थिति देखकर मुझे बहुत दुख हुआ. 

- बंटी निहाल की कलम से